बादल फटने के बाद घर की दीवार तोड़कर मलबा अंदर आ घुसा। 62 वर्षीय महिला चबेलू देवी और उनकी दोहती प्रितिका (16) की मलबे में दबकर मौत हो गई है।
कुल्लू जिले में बादल फटने से महिला-बच्ची की मौत; गाड़ियां मलबे में दबी, पंडोह डैम के सारे गेट खोले
हिमाचल में 24 घंटे हो रही तेज बरसात के कारण भारी तबाही हुई है। कुल्लू जिले के आनी और निरमंड में बादल फटने से दोनों इलाकों का संपर्क जिला मुख्यालय से कट गया। बादल फटने के बाद मकान पर मलबा गिरने वृद्ध महिला और बच्ची की मौत हो गई। ब्यास नदी का जलस्तर अचानक बढ़ जाने की वजह से पंडोह डैम के सारे गेट खोल दिए गए। पंडोह डैम पर बिजली उत्पादन बंद कर दिया गया।
कुल्लू के आनी एरिया की देवठी पंचायत में रात तीन बजे बादल फटने से सैलाब आ गया। यहां पहाड़ का मलबा खदेड़ गांव में मकान पर गिरने से उसमें सो रही 60 साल की महिला और 16 साल की बच्ची की दबने से मौत हो गई। बागीपुल के स्वाह और चनाई गाड में बादल फटने से आई बाढ़ के चलते आनी और निरमंड का कुल्लू जिला मुख्यालय से संपर्क कट गया।
करीब डेढ़ बजे पुलिस दल मौके पर पहुंचा। बीएमओ आनी डॉ. भागवत मेहता ने बताया कि शवों का पोस्टमॉर्टम करवाकर परिजनों को सौंप दिया गया है। वहीं, च्वाई क्षेत्र में भी बारिश ने गुगरा खड्ड में तबाही मचा दी। गुगरा में तीन गाडियां, एक बाइक और चिलिंग प्लांट बाढ़ की चपेट में आ गए। जाबन पंचायत के निगाडी कैंची में जगह-जगह भूस्खलन हुआ है। बागवानों के सेब के बगीचे क्षतिग्रस्त हुए हैं।
कुल्लू जिले के देवठी में बादल फटने के बाद खड्ड में बाढ़ आने से आनी बाजार में दहशत फैल गई। यहां सब्जी मार्केट की 10 दुकानें बह गईं। आनी खड्ड खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। उधर शिमला जिले के रामपुर और नेरवा में भी नुकसान हुआ। रामपुर की इंदिरा मार्केट में एक दर्जन गाड़ियां मलबे में दब गईं तो नेरवा नाले में चार गाड़ियां बह गईं। इनमें एक पिकअप और तीन कार शामिल हैं। बीते 24 घंटों में प्रदेशभर में 30 से ज्यादा गाड़ियों और दो दर्जन से अधिक घरों को नुकसान हुआ है।
ब्यास नदी के किनारे वाले इलाकों में अलर्ट
भाखड़ा-ब्यास मैनेजमेंट बोर्ड (BBMB) के इंजीनियर राजेश हांडा ने बताया कि कुल्लू-मनाली के ऊपरी हिस्सों में हो रही भारी बरसात की वजह से ब्यास नदी उफान पर है। ऐसे में गुरुवार दोपहर ब्यास नदी पर बने पंडोह डैम के सारे गेट खोल दिए गए। यहां फ्लशिंग का काम शुक्रवार शाम 6 बजे तक जारी रहेगा।
बरसात से पहले पंडोह डैम के रेजरवायर का जलस्तर 23 हजार क्यूसिक था जो बढ़कर 55 हजार क्यूसिक तक पहुंच गया। ब्यास नदी में जितना पानी आ रहा है, उतना ही पानी डैम से आगे छोड़ा जा रहा है। डैम से पानी छोड़े जाने से पहले मंडी जिला प्रशासन को अलर्ट कर दिया गया है। ब्यास नदी के किनारे रहने वाले लोगों से अपील की गई है कि वह नदी किनारे न जाएं।